मुंडकोपनिषद:
"द्वा सुपर्णा सयुजा सखाया समानं वृक्षं परिषस्वजाते ।
तयारन्यः पिप्पलं स्वाद्वत्त्यश्रत्रन्यो अभिचाकशीति ॥"
(दो सुंदर पंखों वाले पक्षी, एक-दूसरे के अच्छे दोस्त, एक ही पेड़ पर बैठे हैं.
उनमें से एक पक्षी पेड़ के स्वादिष्ट फलों को खा रहा है.
दूसरा पक्षी उन्हें नहीं खा रहा है, बल्कि उन्हें देख रहा है.)
Two Owls, by Yoshida Tōshi, 1970